मुझे कमरे में बंद किया, चीखती-चिल्लाती रही,कहा- राहुल की यात्रा के दौरान शराब ऑफर की, सुशील बोले- मानहानि का केस करूंगा…

रायपुर :

कांग्रेस की राष्ट्रीय प्रवक्ता राधिका खेड़ा ने कहा कि, राहुल गांधी की यात्रा के दौरान मुझे सुशील आनंद शुक्ला ने शराब ऑफर की। भूपेश बघेल ने कहा छत्तीसगढ़ छोड़ दो। राजीव भवन में मुझे बंद किया गया, मैं चीखती-चिल्लाती, गुहार लगाती रही। मुझे गालियां दी गईं। मैंने ये बात सचिन पायलट, भूपेश बघेल और जयराम रमेश को बताई, लेकिन कुछ नहीं हुआ।

कांग्रेस से इस्तीफा देने के बाद सोमवार को दिल्ली में राधिका खेड़ा ने प्रेस कॉन्फ्रेंस की। इस दौरान उन्होंने प्रियंका गांधी के नारे, ‘लड़की हूं तो लड़ सकती हूं’ पर भी कटाक्ष किया। कहा कि, कांग्रेस का अब स्लोगन है ‘लड़की हो तो पिटोगी’।

वहीं दूसरी ओर रायपुर में आरोपों पर सफाई देते हुए सुशील आनंद शुक्ला ने कहा कि, हर कोई जानता है कि मैंने शराब का सेवन नहीं किया। मैं मानहानि का नोटिस भेजूंगा। इधर छत्तीसगढ़ कांग्रेस अध्यक्ष दीपक बैज ने भी प्रेस कॉन्फ्रेंस कर कहा कि आरोप तो कोई भी लगा सकता है। मैसेज दिल्ली भेजा गया है, AICC आगे फैसला करेगी।

बताया जा रहा है कि, ‘क्रियेटिव जिप्सी’ नामक जिस कंपनी को भूपेश सरकार में फिल्म निर्माण का जिम्मा दिया गया था, उसकी सीईओ राधिका खेड़ा की मां श्रीमती नीरु खेड़ा हैं. इस कंपनी के भुगतान को लेकर भी विवाद की स्थिति बनी।

कभी नहीं सोचा था, कांग्रेस ‘राम विरोधी’ हो जाएगी

राधिका खेड़ा ने कहा कि मैंने कभी सोचा भी नहीं था कि मुझे ऐसी सजा मिलेगी। वह पार्टी जहां हर बैठक की शुरुआत ‘रघुपति राघव राजा राम’ से होती थी, वह कांग्रेस पार्टी “राम विरोधी” हो जाएगी। इससे पहले राधिका खेड़ा ने कहा था, ‘मैं अयोध्या धाम दर्शन करने गई थी। रामलला का दर्शन करने पर विरोध इस कदर से होगा, मैंने कभी नहीं सोचा था। जब से रामलला के दर्शन करके आई हूं, मुझे निरंतर विरोध का सामना करना पड़ा।’

नेटा डिसूजा ने कॉल कर डांटा- राधिका खेड़ा

राधिका खेड़ा ने कहा पिछले डेढ़ महीने से लगातार हमारी जब स्ट्रैटजी डिस्कस होती थी तो कहा जाता था कि हर चीज को घुमा फिरा के संविधान पर ले आओ। उसके बाद जो कर्नाटक प्रकरण हुआ तो कहा गया कि BJP को कर्नाटक वाले मुद्दे पर घेरो।

आप कर्नाटक की बात करते हैं, आप मणिपुर की बात करते हैं, महिला पहलवानों की बात कर रहे हैं, लेकिन घर में जो महिला नेत्री के साथ हो रहा है उसको लेकर एक-एक महिला नेत्री ने चुप्पी साध ली। महिला कांग्रेस अध्यक्ष, सुप्रिया श्रीनेत किसी ने कुछ नहीं कहा। बल्कि पूर्व महिला कांग्रेस के अध्यक्ष नेट्टा डिसूजा ने इस घटना के बाद मुझे कॉल कर कर डांटा और कहा कि यह क्या कर रही हो।

मैं हिंदू हूं.. सनातन धर्म की अनुयायी
राधिका ने कहा, ‘मैं एक हिंदू हूं, मैं एकसनातन धर्म की अनुयायी हूं, इसलिए मुझे न्याय नहीं मिला। क्या आपकी (कांग्रेस) लड़ाई रामलला से है या आपकी लड़ाई किसी राजनीतिक दल से है? इस पार्टी को फैसला करना होगा। मैंने 6 दिनों तक इंतजार किया और न्याय की गुहार लगाई, लेकिन कुछ नहीं हुआ। इसलिए 22 साल बाद मैंने पार्टी से इस्तीफा दे दिया है।’

मानहानि का केस करेंगे सुशील आनंद शुक्ला

राधिका खेड़ा के खिलाफ सुशील आनंद शुक्ला मानहानि का नोटिस देंगे। 6 मई को प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान कहा कि, इसे लेकर अपने अधिवक्ता से बात की है। मैं मानहानि का नोटिस आज शाम या कल सुबह भेजूंगा। मैं इस मामले को ऐसे ही नहीं छोडूंगा। दुशील शब्द से मेरी भावनाएं आहत हुई है मैं इस पर पूरी लड़ाई लडूंगा।

राधिका के आरोपों पर सुशील बोले- मेरे चरित्र की हत्या हुई

सुशील आनंद शुक्ला ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर कहा कि, राधिका खेड़ा ने कई आरोप लगाए हैं और मेरे चरित्र की हत्या करने की कोशिश की गई। उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि मैंने उन्हें शराब की पेशकश की और उनके कमरे का दरवाजा खटखटाया, शुक्ला ने दावा किया कि मैं छात्र जीवन से ही राजनीति में सक्रिय हूं और हर कोई जानता है कि मैंने शराब का सेवन नहीं किया।

शुक्ला ने खेड़ा के पार्टी कार्यालय में दुर्व्यवहार के आरोप और मीडिया सेल के चैंबर में बंद करने के आरोप का भी खंडन किया। उन्होंने कहा कि, पवन खेड़ा के दौरे की तैयारी में राधिका छत्तीसगढ़ के मीडिया सेल से आगे निकल गई। जब ओवरपास को लेकर आपत्ति जताई गई तो वह उपद्रव मचाने लगी।

रविवार को राधिका ने कांग्रेस से इस्तीफा दिया

इससे पहले रविवार शाम को कांग्रेस की राष्ट्रीय प्रवक्ता राधिका खेड़ा ने पार्टी से इस्तीफा दिया था। उन्होंने सोशल मीडिया पर अपना इस्तीफा पोस्ट करते हुए लिखा, ‘आज अत्यंत पीड़ा के साथ पार्टी की प्राथमिक सदस्यता त्याग रही हूं और अपने पद से इस्तीफा दे रही हूं। हां मैं लड़की हूं और लड़ सकती हूं, और वही अब मैं कर रहीं हूं। अपने व देशवासियों के न्याय के लिए मैं निरंतर लड़ती रहूंगी।’

दरअसल, राधिका खेड़ा और छत्तीसगढ़ कांग्रेस के नेताओं के बीच विवाद हुआ था। मामला मंगलवार का बताया जा रहा है, जब मीडिया में बयान देने को लेकर नेताओं में विवाद हो गया। कहा जा रहा है कि रायपुर में कांग्रेस मुख्यालय राजीव भवन में राधिका खेड़ा स्थानीय नेताओं और प्रवक्ताओं के साथ मौजूद थीं, विवाद तभी हुआ। अटकलें हैं कि राधिका भाजपा ज्वाइन कर सकती हैं।

पहले जानिए खेड़ा ने अपने इस्तीफे में क्या लिखा…
आदिकाल से ये स्थापित सत्य है कि धर्म का साथ देने वालों का विरोध होता रहा है। हिरण्यकशिपु से लेकर रावण और कंस तक इसका उदाहरण हैं। वर्तमान में प्रभु श्री राम का नाम लेने वालों का कुछ लोग इसी तरह विरोध कर रहे हैं।

हर हिंदू के लिए प्रभु राम की जन्मस्थली पवित्रता के साथ बहुत मायने रखती है और राम लल्ला के दर्शन मात्र से जहां हर हिंदू अपना जीवन सफल मानता है, वहीं कुछ लोग इसका विरोध कर रहे हैं।

मैंने जिस पार्टी को अपने 22 साल से ज़्यादा दिए, जहां NSUI से लेकर AICC के मीडिया विभाग में पूरी ईमानदारी से काम किया, आज वहां ऐसे ही तीव्र विरोध का सामना मुझे करना पड़ा है, क्योंकि मैं अयोध्या में राम लल्ला के दर्शन करने से खुद को रोक नहीं पाई।

मेरे इस पुनीत कार्य का विरोध इस स्तर तक पहुँच गया कि मेरे साथ छत्तीसगढ़ प्रदेश कांग्रेस कार्यालय में हुए घटनाक्रम में मुझे न्याय देने से इनकार कर दिया गया। मैंने हमेशा ही दूसरों के न्याय के लिए हर मंच से लड़ाई लड़ी है, किंतु जब स्वयं के न्याय की बात आई तो पार्टी में मैंने स्वयं को हारा हुआ पाया।

प्रभु श्री राम की भक्त व एक महिला होने के नाते मैं बेहद आहत हूं। बार बार पार्टी के समस्त शीर्ष नेताओं को अवगत कराने के बाद भी जब मुझे न्याय नहीं मिला, इससे आहत होकर मैंने आज यह कदम उठाया है।

अब जानिए क्या था मामला और अब तक क्या हुआ…
1 मई : 
राधिका ने बुधवार को ‘X’ पर पोस्ट किया। इसमें लिखा- ‘मेरी 40 साल की उम्र में मेरे साथ ऐसा कभी नहीं हुआ। मेरी इतनी बेइज्जती कभी नहीं हुई। मैं जब उससे बात करती हूं, वो मुझ पर चिल्लाता है।’ रायपुर स्थित कांग्रेस के राजीव भवन में ये बात पार्टी की नेशनल मीडिया कोऑर्डिनेटर राधिका खेड़ा ने रोते-बिलखते हुए कही। इसके बाद उन्होंने बुधवार को ट्वीट कर कहा कि क्या पुरुषत्व-विहीन हुई ये धरा..।

इस ट्वीट के बाद ही सारा मामला सामने आया। चर्चा है कि कांग्रेस पार्टी के मीडिया के काम में दखलअंदाजी को लेकर बहस शुरू हुई। तू-तू, मैं-मैं इस कदर बढ़ी की राधिका खेड़ा रोने लगीं। इसके बाद उन्होंने इसकी जानकारी PCC चीफ दीपक बैज और पार्टी के बड़े नेताओं को दी गई।

2 मई : इस पूरी घटना का वीडियो सामने आने के बाद पवन खेड़ा ने PCC चीफ दीपक बैज को पत्र लिखकर 24 घंटे के भीतर ही जवाब मंगा था।

3 मई : प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष दीपक बैज ने बारी-बारी से राधिका खेड़ा और सुशील आनंद शुक्ला से करीब 3 घंटे से ज्यादा देर तक चर्चा की। इस दौरान कांग्रेस प्रवक्ता नितिन भंसाली, सुरेंद्र वर्मा, मीडिया पैनलिस्ट परवेज आलम, दीपक पांडेय भी मौजूद रहे।

5 मई : राधिका खेड़ा ने कांग्रेस से इस्तीफा दिया। उन्होंने मीडिया से कहा, ‘मैंने कभी पार्टी लाइन नहीं पार की, मैंने पूरी निष्ठा और ईमानदारी से काम किया है। सिर्फ इसलिए कि मैंने अयोध्या का दौरा किया, सिर्फ इसलिए कि मैं एक हिंदू हूं, मैं सनातन धर्म की अनुयायी हूं मुझे न्याय नहीं मिला। क्या आपकी (कांग्रेस) लड़ाई रामलला से है या आपकी लड़ाई किसी राजनीतिक दल से है ? इस पार्टी को फैसला करना होगा। मैंने 6 दिनों तक इंतजार किया और न्याय की गुहार लगाई, लेकिन कुछ नहीं हुआ। इसलिए 22 साल बाद मैंने पार्टी से इस्तीफा दे दिया है।’

दीपक बैज ने कहा- AICC को रिपोर्ट भेजी है
राधिका के इस्तीफे के बाद सुशील आनंद शुक्ला ने कहा कि, आरोप लगाना मेरी फितरत में नहीं है। जो सफाई देनी थी जो बात रखनी थी वह मैंने पार्टी नेतृत्व के सामने रख दी है। वह मेरी छोटी बहन की जैसी थीं, हैं और रहेंगी। जहां भी रहें मेरी शुभकामनाएं साथ हैं।

वहीं, PCC चीफ दीपक बैज ने कहा कि, खड़गे जी को राधिका जी ने चिट्ठी लिखी है यह उनका व्यक्तिगत निर्णय है। राम मंदिर कोई भी जा सकता है देश का हर नागरिक जा सकता है। इसको किसी जाति धर्म मंदिर से जोड़कर नहीं देखना चाहिए।

संचार विभाग के पदाधिकारी पर कार्रवाई के सवाल पर बैज ने कहा कि, मैंने सभी लोगों से वन टु वन चर्चा की है, मैंने अपनी पूरी रिपोर्ट AICC को भेज दी है। अब AICC को निर्णय लेना है।

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